Wednesday, June 20, 2007

ये मेरा जोकर है।


ये मेरा जोकर है। ये मेरे स्‍कूल से मिला है- पिछले स्‍कूल ऐनेक्‍स कांन्‍वेंट से। मैं उस स्‍कूल से प्‍यार करती हूँ। एनेक्‍स कांन्‍वेंट स्‍कूल के मेरे दोस्‍त सुरभि, सोहम और समर्थ मेरे बहुत अच्‍छे दोस्‍त थे। अब मैं नए स्‍कूल बाल भारती मे आ गई हूँ। अब बाल भारती स्‍कूल में मेरे दोस्‍त हैं- प्रियल, खुशी रावत।

4 comments:

रवि रतलामी said...

ये तो आपका बढ़िया जोकर है :)

ePandit said...

चिंता न करें मिश पुराने दोस्त छूटते हैं तो ही नए दोस्त बनते हैं। :)

उन्मुक्त said...

बहुत सुन्दर है।

Anupam Pachauri said...

क्या मिश ? कोई नई कविता, कहानी, किस्सा- कुछ नहीँ! तुमने भाई का दाँत टूटने का किस्सा भी नहीँ सुनाया! भाई हुआ क्या था? मैगी पार्टी कैसी रही?

अप्पम